सहरसा जिले के वैश्विक महामारी कोरोना के संक्रमण से बचाव को लेकर देश भर में जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। सरकार द्वारा कोरोना के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है। वहीं सामाजिक संगठन से जुड़े लोग भी लोगों को कोरोना महामारी के संक्रमण से बचाव हेतु सचेत करने में लगे हुए हैं। इसी कड़ी में सोमवार को सहरसा मंडल कारा में कोराना को लेकर जागरूक करने के लिए मॉक ड्रिल किया गया। जिसमें जेल में ड्यूटी में तैनात एक महिला सिपाही द्वारा मॉक ड्रिल में दिखाया कि कोरोना के लक्षण की शुरुवात कैसे होती है।
मंडल कारा में मॉक ड्रिल के दौरान किसी व्यक्ति में कोरोना महामारी के लक्षण दिखने पर क्या करना चहिये इस संबंध में जानकारी दी गयी। मॉक ड्रिल में दिखा कि कोरोना मरीज मिलने के बाद किस तरह पूरे जेल प्रशासन में अफरा-तफरी का माहौल रहा। इस दौरान जेल के वरीय अधिकारियों को महिला सिपाही में कोरोना के लक्षण की जानकारी दी गई। जिसके बाद किस तरह डॉक्टर की टीम जेल पहुंचती है और कोरोना लक्षण होने की बात कहते नजर आये। फिर इस बात की जानकारी सिविल सर्जन को दी जाती है और फिर महिला सिपाही को सदर अस्पताल ले जाया जाता है।
उक्त बाबत जानकारी देते हुए कारा अधीक्षक सुरेश चौधरी ने बताया कि उच्चाधिकारियों निर्देश के आलोक में मंडल कारा में मॉक ड्रिल करवाया गया। उन्होंने कहा कि वैश्विक महामारी कोरोना वायरस संक्रमण के मद्देनजर साफ-सफाई का खास ध्यान रखा जाता है। जेल के अंदर एवं बाहर सेनेटाइजेशन, ब्लीचिंग पाउडर आदि का छिड़काव भी लगातार किया जा रहा है। वहीं संक्रमण से बचाव हेतु बंदियों को ई- मुलाकाती सिस्टम से परिजनों से बातचीत कराया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कोरोना के संक्रमण से बचाव हेतु सुरक्षा के दृष्टिकोण से जेल प्रशासन पूरी तरह सचेत है।
रितेश : हन्नी
कोशी की आस@सहरसा